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शरीर में कितना खून होना चाहिए | How Much Blood Should Be in the Body in Hindi?


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शरीर में कितना खून होना चाहिए | How Much Blood Should Be in the Body in Hindi?

खून की सही मात्रा हमारे शरीर के लिए बहुत आवश्यक है। खून की कमी स्वास्थ्य पर बहुत हानिकारक प्रभाव डालती है। शरीर में खून की मात्रा इंसान के वजन, आयु, जेंडर और वह कहाँ रहता है इस पर निर्भर करता है।

शरीर में कितना खून होना चाहिए? - How Much Blood Should Be in the Body in Hindi?

मानव के शरीर में खून की मात्रा शरीर के वजन के ७ प्रतिशत के बराबर होती है। लेकिन यह एक अनुमान है की खून की मात्रा मानव के वजन और आयु पर निर्भर करता है। जानते है बॉडी में ब्लड कितना होना चाहिए

1) शिशु

जो शिशु पूरी अवधि होने के बाद पैदा होते है और सेहतमंद होते है उनके शरीर का जो वजन होता है उसके प्रति किलोग्राम लगभग ७५ मिलीलीटर (एमएल) रक्त उनमें होता है। शिशु का वजन ८ पाउंड है तो उसके शरीर में लगभग २७० एमएल या ०.०७ गैलन रक्त होता है।

2) बच्चे

शिशु के बाद आते है बच्चे। बात करे ८० पाउंड के बच्चे के शरीर में खून की मात्रा की तो लगभग २,६५० एमएल रक्त या ०.७ गैलन रक्त होता है।

3) वयस्क

वयस्कों में खून की कितनी मात्रा होना चाहिए। तो १५० से १८० पाउंड वजन के वयस्क शरीर में १.२ से १.५ गैलन रक्त होना चाहिए। जो ४,५०० से ५,७०० एमएल है।

4) गर्भवती महिलाएं -

गर्भ में पल रहे बच्चे के विकास के लिए गर्भवती महिला के शरीर में सामान्य महिलाओं की तुलना में ३० से ५० प्रतिशत अधिक रक्त की मात्रा होती है जो ०.३ से ०.४ अतिरिक्त गैलन रक्त है।

नार्मल ब्लड कितना होना चाहिए यह आप कहाँ रहते है इस बात पर भी निर्भर होता है। जिससे की मानव शरीर में रक्त की मात्रा भिन्न हो सकती है। जो लोग ऊंचाई पर रहते है उनमें खून की मात्रा ज्यादा होती है। इसका कारण यह है की ऊंचाई पर ज्यादा ऑक्सीजन नहीं होती है।

आपका शरीर कितना खून छोड़ सकता है - How Much Blood Can You Lose?

जिन लोगों का बड़ा एक्सीडेंट हो जाता है। जिसमें बड़ी चोट और आघात लगती है उनका रक्त बहुत ज्यादा मात्रा में बह जाता है। ज्यादा मात्रा में रक्त की हानि को हेमोरेजिक शॉक कहते है।

बहुत ज्यादा खून बह जाने पर मस्तिष्क के कार्य करने की क्षमता खत्म हो जाती है। जिससे की पर्याप्त ऑक्सीजन नहीं मिलती है। कितना खून बह गया है इसके आधार पर हेमोरेजिक शॉक को चार वर्गों में डॉक्टर वर्गीकृत करते हैं। जिसमें से चतुर्थ श्रेणी में हुई रक्त की हानि की मात्रा बहुत घातक साबित होती है।

डॉक्टर आपके रक्त की मात्रा को क्यों और कैसे मापेगा - Why and How Would Your Doctor Measure Your Blood Volume?

खून की मात्रा का टेस्ट डॉक्टर को लक्षण, असामान्य प्रयोगशाला परिणामों और कुछ परिसंचरण विकारों के कारणों के निर्धारण करने में मदद करते हैं। जिससे आने वाले रिजल्ट से डॉक्टर को उपचार करने में मदद मिलती है।

डॉक्टर द्वारा रक्त की मात्रा को सीधे नहीं मापा जाता क्योंकि यह दूसरे फैक्टर और टेस्ट पर आधारित होता है। यदि आपको एक बड़ा आघात हुआ है जिससे की रक्त की बहुत हानि हुई है तो डॉक्टर आपका वजन देखेंगे जिससे अनुमान लगाया जा सकेगा की आपके शरीर में कितना रक्त है।

फिर डॉक्टर हृदय की गति, श्वास दर, रक्तचाप चेक करेंगे यह अनुमान लगाने के लिए की कितने रक्त की हानि हुई है। डॉक्टर किसी भी अतिरिक्त रक्त हानि पर भी नज़र रखेंगे।

ब्लड टेस्ट को हीमोग्लोबिन और हेमटोक्रिट टेस्ट के रूप में जानते है। इससे पता चलता है की शरीर में जितना तरल पदार्थ है उसकी मात्रा की तुलना में कितना रक्त है। शरीर का वजन चेक करने के साथ ही डॉक्टर यह भी देखते है की आप कितने हाइड्रेटेड हैं। इन सभी फैक्टर्स को चेक करने के बाद अप्रत्यक्ष रूप से मापा जाता है की शरीर में कितने रक्त की मात्रा है।

खून की कमी से बचने के लिए खायें ये चीजें - What Food to Eat to Avoid Anemia

अगर शरीर में खून की कमी हो जाती है तो आपको निम्न चीजों को अपने भोजन में शामिल करना चाहिए। इन सभी चीजों के सेवन से शरीर में खून को बढ़ाया जा सकता है।

1) पालक -

पालक में आयरन भरपूर मात्रा में पाया जाता है। पालक रक्त की कमी को दूर करता है और इसके सेवन से स्वास्थ्य भी अच्छा रहता है यह सेहत के लिए भी फायदेमंद है।

2) टमाटर -

सलाद के रूप में टमाटर को खाया जा सकता है। इससे शरीर में रक्त भी बढ़ता है। इससे त्वचा पर निखार भी आता है और पाचन क्रिया में भी सुधार होता है।

3) चुकंदर -

यह स्वाद में कसैला होता है जिस वजह से लोग इसे खाना पसंद नहीं करते। आप इसका जूस पी सकते है। स्वाद के लिए इसमें शक़्कर, निम्बू और काला नमक मिला सकते है।

4) किशमिश -

किशमिश खाने से शरीर की कमजोरी दूर होती है और शरीर में खून की वृद्धि होती है। किशमिश को दूध में उबाले और इस दूध का सेवन करे।

5) अंजीर -

इसमें फाइबर, पोटेशियम, कैल्शियम, विटामिन के पाया जाता है। इससे खून की मात्रा बढ़ती है और पाचन संबंधित समस्या से भी छुटकारा मिलता है।

6) हरी पत्तेदार सब्जियां -

हरे पत्तेदार सब्जियों में पोषक तत्व अत्यधिक मात्रा में  शरीर में खून को बढ़ाने में मदद करती है।

निष्कर्ष :

शरीर में खून की कमी ना होने दे। अपने भोजन में पोषक तत्वों को शामिल करे और खानपान को सेहतमंद बनाये। रक्त की कमी होने की वजह से शरीर बिमारियों से घिर जाता है और शरीर में कमजोरी बनी रहती है। तो अच्छा खाये और स्वस्थ रहे।




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